गलती भले 🔸ही किसी की भी हो….
लेकिन मैं हमेशा “Sorry”
इसलिए 🔸कह देता हूं… क्योंकि
मुझे रिश्ते प्यारे हैं “Ego” नहीं।
रूठ कर 🔸हमसे यूँ दूर जा बैठे हैं कहीं
उनकी यादें सता रही हैं हमें 🔸हर वक्त यहीं
कोई उनसे🔸 हमारी खता तो पूछ आइये
हम सर झुकाये इंतजार में 🔸बैठे हैं यही
दिल उदास🔸 हैं तेरे चले जाने से
हो सके तो मुसाफ़िर तू 🔸लौट आ
तेरे क़दमों 🔸में सर झुकाये खड़े हैं हम
तू बस एक बार सजा🔸 तो सुना जा
वो गुस्से में 🔸दूर से ही निहारा करते हैं
क्या बात हैं जाने क्यूँ इतने🔸 खफ़ा लगते हैं
कोई खता🔸 हुई हमसे तो बख्श दीजिये
हम तो हर वक्त आप ही को🔸 याद किया करते हैं